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पंजशीर से तालिबान को चुनौती, लड़ाकों का दावा, जिले कब्जाए।

पंजशीर से तालिबान को चुनौती, लड़ाकों का दावा, जिले कब्जाए।

पंजशीर से तालिबान को चुनौती, लड़ाकों का दावा, जिले कब्जाए।


पंजशीर से तालिबान को चुनौती, लड़ाकों का दावा, जिले कब्जाए।

तालिबान के खिलाफ अफगानिस्तान पिक्चर पूरी तरह से खत्म नहीं हुई है। आतंकी संगठन से निपटने की रणनीति तैयार करने के लिए तालिबान विरोधी ताकतें बेहद खतरनाक पंजशीर घाटी में इकट्ठा हुई हैं। 

इनमें पूर्व उपराष्ट्रपति अमरूल्ला सालेह और अफगान सरकार के वफादार सिपहसालार जनरल अब्दुल रशीद दोस्तम और अता मोहम्मद नूर के अलावा नॉर्दर्न अलायंस से जुड़े अहमद मसूद की फौजें शामिल हैं। 

अहमद मसूद पंजशीर के शेर' के नाम से मशहूर पूर्व 'अफगान नेता अहमद शाह मसूद के बेटे हैं। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, तालिबान के खिलाफ बगावत का बिगुल फूंकने वाली फौजों यानी नॉर्दर्न अलायंस ने परवान प्रांत के चारिकार इलाके पर दोबारा नियंत्रण हासिल कर लिया है। 

तीन प्रांतों बानो, पूले हेसार और देह बाला को कब्जा लिया गया है। चूंकि, चारिकार राजधानी काबुल को उत्तरी अफगानिस्तान के सबसे बड़े शहर मजार-ए-शरीफ से जोड़ता है। लिहाजा उस पर जीत को विद्रोहियों की बड़ी कामयाबी

पंजशीर के करीब स्थानीय लड़ाकों और तालिबान के बीच घमासान लड़ाई हुई। उन्होंने पुल-ए-हिसार जिले को छुड़ाने का दावा किया। के तौर पर देखा जा रहा है। खबरों के अनुसार, चारिकार पर कब्जे के लिए सालेह के सैनिकों ने पंजशीर की तरफ से हमला किया था। 

यह अफगानिस्तान का अकेला ऐसा प्रांत है, जिस पर तालिबान का कब्जा नहीं हो सका है। विद्रोहियों ने पंजशीर में नॉर्दर्न अलायंस उर्फ यूनाइटेड इस्लामिक फ्रंट का झंडा भी फहरा दिया है। अहमद मसूद ने अमेरिका से हथियार भी मांगे हैं।

तालिबान चीफ पाकिस्तान में?

तालिबान का सुप्रीम लीडर हिबतुल्लाह अदजादा इस वक्त कहां है? भारत सरकार इस मामले में विदेशी खुफिया एजेंसियों में मिल रही सूचना की स्टडी कर रही है। सरकारी सूत्रों ने इस बात का संकेत दिया है कि हिबतुल्लाह इस समय पाकिस्तानी सेना की हिरासत में हो सकता है। उसे पिछले छह महीनों से नहीं देखा गया है। 

उसका आखिरी सार्वजनिक बयान मई में आया था। इसमें उसने ईद की बधाई दी थी। सूत्रों को मुताबिक भारत इस मसले पर नजर बनाए हुए है कि पाकिस्तान मुद्दे को किस तरह से संभालता है। पूर्व नेता अख्तर मंसूर के अमेरिकी ड्रोन हमले में मारे जाने के बाद मई 2016 में हिबतुल्लाह को तालिबान चीफ बनाया गया था। अखंदजादा एक सैनिक नहीं बल्कि स्कॉलर है।

निष्कर्ष

आशा है आपको यह समझ में आ गया होगा। इस लेख में, हमने आपको  पंजशीर से तालिबान को चुनौती, लड़ाकों का दावा, जिले कब्जाए। के बारे मे बताया। अगर आपको यह लेख पसंद आया हो।

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